कोरोना वायरस (Corona Virus) के बढ़ते खतरे को देखकर पूरे देश में 21 दिनों का लॉकडाउन (Lockdown) किया गया है. इस 21 दिन के लॉकडाउन से पूरे देश की वित्तीय (Financial) एवं कारोबारी गतिविधियां पूरी तरह ठप्प हो गई हैं. इसी बीच देश की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने कारोबारियों तथा टैक्सपेयर को राहत देते हुए कुछ घोषणाएं की हैं. इन राहत में बैंक, टैक्स और जीएसटी को लेकर कुछ राहते सरकार ने जनता को दी हैं.
कारोबारी इस लॉकडाउन के चलते काफी मुश्किल में है क्योंकि इन 21 दिनों में उनका कारोबार पूरी तरह बंद रहेगा. अब ऐसे में उन्हें जीएसटी रिटर्न भरना है, कई लोगों को टैक्स भरना है, कई लोग बैंक से पैसा निकलेंगे, कई लोगो एटीएम से पैसा निकलेंगे तो ऐसे में सरकार ने इन्हें राहत देने के लिए कुछ खास नियम जारी किए हैं.
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मिनिमम बैलेंस Minimum Bank Balance
अभी तक कई सारी बैंक में आपको अपने Account में मिनिमम बेलेन्स (Minimum balance) को मेंटेन रखना जरूरी होता है. अगर आप नहीं रखते हैं तो दंडस्वरूप आपसे चार्ज वसूला जाता है. लेकिन देश में इस स्थिति के उत्पन्न होने से मिनिमम बेलेन्स के नियम को तीन महीने के लिए हटा दिया गया है. वित्त मंत्री ने कहा है की अगले तीन महीने तक Bank customers को मिनिमम बेलेन्स रखने की दरकार नहीं है.
एटीएम चार्ज ATM Charge
भारत में लॉकडाउन की स्थिति में पैसे निकालने के लिए ATM चालू रहेंगे. लेकिन आप अपने नजदीकी एटीएम का ही प्रयोग कर पाएंगे. अब ऐसे में आपका अकाउंट जिस बैंक में है जरूरी नहीं की उसी का एटीएम आपके नजदीक हो और जब आप दूसरे एटीएम से पैसे निकालते हैं तो आपसे चार्ज वसूला जाता है. लेकिन वित्त मंत्री ने इस चार्ज से राहत देते हुए कहा है की आप तीन महीने तक किसी भी बैंक के एटीएम से कितनी भी बार पैसे निकाल सकते हैं उसके लिए आपको कोई शुल्क देने की जरूरत नहीं है. वर्तमान में आप अपने एटीएम से पाँच बार और दूसरे ATM से तीन बार फ्री में पैसे निकाल सकते थे. लेकिन अगले तीन महीने तक ऐसा कोई नियम नहीं रहेगा.
आर्थिक सहायता Subsidies
भारत में तेजी से कोरोना संक्रमित मामले सामने आ रहे हैं ऐसे में वित्त मंत्री ने कहा है की जल्द ही कोरोना से प्रभावित लोगों के लिए आर्थिक पैकेज (Economic package) की घोषणा की जाएगी. उन्होने कहा है की इस पर काम चल रहा है. केंद्र सरकार इससे जुड़ी योजना को जल्द ही लागू करेगी.
इनकम टैक्स रिटर्न Income Tax Return
जिस समय देश में लॉकडाउन किया गया है वो समय टैक्सपेयर के लिए काफी खास है क्योंकि इसी समय देश में इनकम टैक्स रिटर्न फ़ाइल किया जाता है. वित्त मंत्री ने इस समस्या से निपटने के लिए टैक्सपेयर को राहत दी है और कहा है की वे लेट फीस के साथ 30 जून 2020 तक इनकम टैक्स फ़ाइल (Income tax file) कर सकते हैं. देरी से भुगतान पर लगने वाले ब्याज को भी घटाकर 12 से 9 प्रतिशत कर दिया गया है.
टीडीएस जमा करने में राहत TDS relief to deposit
टैक्स पेयर के साथ ही TDS जमा करने वालों के लिए ये भी समय काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि इस समय ज़्यादातर टीडीएस जमा किया जाता है. वित्त मंत्री ने कहा है की देर से टीडीएस जमा कर सकते हैं. लेकिन इस पर आपको ब्याज देना होगा. ब्याज की दर को 18% से घटाकर 9% कर दिया गया है.
पैन और आधार लिंक PAN and Aadhar link
सरकार के नियम अनुसार पैन कार्ड को आधार कार्ड से लिंक कराने का समय 30 मार्च 2020 था लेकिन इस लॉकडाउन के चलते वित्त मंत्री ने इसकी सीमा को बढ़ा दिया है. वित्त मंत्री के अनुसार आप 30 जून 2020 तक अपने पैन और आधार को लिंक करवा सकते हैं.
जीएसटी रिटर्न फ़ाइल GST Return File
जीएसटी रिटर्न फ़ाइल करने को लेकर भी सरकार ने राहत दी है. सरकार ने मार्च, अप्रैल और मई के जीएसटी भरने की समय सीमा को बढ़ाकर 30 जून कर दिया है. पाँच करोड़ से कम टर्नओवर वाली कंपनियों को इस समय तक जीएसटी रिटर्न भरने पर कोई ब्याज, लेट फीस, जुर्माना नहीं देना होगा. वहीं बड़ी कंपनियों को किसी तरह का लेट फीस या जुर्माना नहीं देना होगा लेकिन उन्हें ब्याज देना होगा. हालांकि ब्याज में भी राहत देते हुए सरकार ने ब्याज दर को घटा कर 9 फीसदी कर दिया है.
सबका विश्वास योजना All trust scheme
लॉकडाउन के इस माहौल में टैक्सपेयर और सरकार के बीच विवाद निपटाने वाली योजना सबका विश्वास योजना में भी राहत दी गई है. सरकार के मुताबिक इस योजना के तहत लोग 30 जून तक अपनी बकाया राशि जमा करा सकते हैं. लोगों को इसे देर से जमा करने पर कोई ब्याज नहीं देना होगा.
कंपनियों के नियम Rules of Companies
सरकार ने नई कंपनियों के लिए बिजनेस शुरू करने की घोषणा के लिए 6 महीने का अतिरिक्त समय दिया है. वित्त मंत्री ने कहा है की बोर्ड बैठक आयोजित करने की अनिवार्यता में 60 दिन की मोहलत दी जा रही है. ये मोहलत अगली दो तिमाही के लिए है. वित्त मंत्री ने कहा की अब एक करोड़ रुपये से अधिक का डिफ़ाल्ट होने पर ही कंपनी के खिलाफ आईबीएस के तहत मामला चलेगा. उन्होने कहा की अगर 30 अप्रैल तक चीजे बेहतर नहीं हुई तो सरकार आईबीएस की धारा सात, नौ और 10 को छह माह के लिए बढ़ा सकती है.
केंद्र सरकार ने ये राहत कारोबारियों और आम जनता दोनों को ध्यान में रखते हुए दी है ताकि मुसीबत की इस घड़ी में आप टैक्स जैसी चीजों के लिए परेशान न हो. मार्च के अंत में कई लोग टैक्स भरते हैं, आईटीआर फ़ाइल करते हैं. अब ऐसी स्थिति में उनके लिए भी ITR फ़ाइल करना मुश्किल है. इसलिए सरकार ने उन्हें ये राहत दी है की वे अपना टैक्स थोड़े समय के बाद भर सकते हैं.
इस राहत को जितने समय के लिया दिया गया है हो सकता है वो समय भी बढ़ जाए क्योंकि अभी इस महामारी से देश में कितने दिन लॉकडाउन रहेगा इस बात की कोई पुष्टि नहीं है. देश और दुनिया से कोरोना जब तक पूरी तरह खत्म नहीं हो जाता संकट की स्थिति बनी रहेगी. ऐसे में जरूरत सिर्फ धैर्य और सावधानी बनाए रखने की है. कोरोना से निपटने के लिए प्रधानमंत्री ने जो आग्रह जनता से किया है उसे मानने की जरूरत है.
कोरोना लॉकडाउन : बीमा, अनाज और आर्थिक सहायता के लिए सरकार की घोषणा
कोरोना के कारण हुए लोकडाउन से देश में गरीबों को काफी ज्यादा दिक्कत हो रही है. इसकी वजह है की कई लोग रोज कमाने और रोज खाने वाले हैं. कई लोग ऐसे हैं जो इतने दिन यदि कमाने नहीं जाएंगे तो उनके घर में काफी दिक्कतें आ जाएंगी. इन सभी समस्याओं को देखते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने देश की अर्थव्यव्स्था को बचाने के लिए और किसानों, मजदूर, महिलाओं आदि को राहत देने के लिए बड़े ऐलान किए हैं.
देश में उत्पन्न हुई इस संकट की स्थिति से उबरने के लिए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 लाख 70 हजार करोड़ रुपये का आर्थिक पैकेज तैयार किया है. इसमें उन्होने किसानों, मानरेगा मजदूरों, महिलाओं, पीएफ़ खाताधारकों, आदि को राहत देने के लिए कई बड़ी घोषनाएं की हैं. इसके साथ ही यह भी सुनिश्चित किया है की इस लॉकडाउन में में गरीब भूखा न रहे.
50 लाख का बीमा (insurance)
कोरोना से जंग लड़ने के लिए और इस महामारी को दूर करने के लिए जो लोग प्रयास कर रहे हैं, चिकित्सा के क्षेत्र में काम कर रहे हैं उन्हें 50 लाख का बीमा कवर प्रदान किया जाएगा. इस बीमा योजना का लाभ 20 लाख कर्मचारियों को मिलेगा. कोरोना एक जोखिम भरी बीमारी है जिसमें कुछ भी सकता है इसलिए सरकार कोरोना से लड़ने में मदद करने वाले लोगों को बीमा के माध्यम से मदद कर रही है.
कोरोना में मुफ्त अन्न (गरीब कल्याण अन्न योजना)
वित्त मंत्री ने गरीब भूखा न रहे इसलिए प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के माध्यम से यह सुनिश्चित किया जाएगा की हर गरीब को खाना मिले. इसके तहत पाँच किलो अतिरिक्त गेहूं या चावल अगले तीन महीनों के लिए साथ ही एक किलो दाल भी मिलेगी. ये लाभ राशन कार्ड वाले लाभार्थियों को दिया जाएगा.
कोरोना में आर्थिक सहायता
देश के किसान को आर्थिक सहायता करने के लिए उनके अकाउंट में अप्रैल के पहले हफ्ते में 2000 रुपये की किश्त डाल दी जाएगी. देश के लगभग 8 करोड़ 70 लाख किसानों को इसका फायदा होगा. इसके अलावा बुजुर्ग, विधवा और दिवयांगों को 1000 रुपये अतिरिक्त पेंशन दी जाएगी. ये अगले तीन महीने के लिए होगी. इसके अलावा मनरेगा मजदूरों की दिहाड़ी 182 रुपये से बढ़ाकर 202 रुपये कर दी गई है.
कोरोना में महिलाओं के लिए सहायता
कोरोना के संकट की स्थिति में महिलाओं के लिए भी सहायता का ऐलान किया गया है. वित्त मंत्री के अनुसार उज्ज्वला योजना के तहत 8 करोड़ महिला लाभार्थियों को तीन महीने तक मुफ्त सिलेन्डर दिया जाएगा. इसके अलावा जिन महिलाओं का जन-धन खाता है उनके अकाउंट में प्रतिमाह 500 रुपये दिये जाएंगे. दीनदयाल योजना के तहत महिलाओं को स्वयं सहायता समूह की मदद से 20 लाख तक का लोन दिया जाएगा.
पीएफ़ में आर्थिक सहायता
पीएफ़ कर्मचारियों के लिए भी वित्त मंत्री ने ऐलान किए हैं. इसके तहत अगले तीन महीने तक EPF में सरकार योगदान देगी. ईपीएफ़ का 12 फीसदी जो कर्मचारी देता है और 12 फीसदी जो कंपनी देती है ये दोनों हिस्से अगले तीन महीने तक सरकार देगी. लेकिन इसके लिए कंपनी में 100 कर्मचारियो से कम होना चाहिए और 90 फीसदी कर्मचारियों की सैलरी 15 हजार रुपये से कम होनी चाहिए.
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